छोटी नैतिक कहानी – झुट बोलने का परिणाम

यह छोटी नैतिक कहानी – “झूट बोलने का परिणाम” सभी ने सुनी होगी । लेकिन आप को इसे फिर किसी को सुनाने के लिए टेक्स्ट की जरूरत होगी । आप नीचे दिए हुए कहानी को मर्जी चाहे वैसे इस्तेमाल कर सकते है । आप इस कहानी को अपने बच्चों को सुनाए , उन्हे बहुत जरूरी नैतिक सीख मिलेंगी । इस छोटी कहानी द्वारा बच्चों मे सच बोलने की प्रेरणा पैदा होगी ।

छोटी नैतिक कहानी – झुट बोलने का परिणाम

एक जमाने की बात है । एक लड़का भेड़ों को चराने के लिए एक पहाड़ पर ले जाया करता था । दिनभर भेड़ चराकर वह ऊब गया था । उसे एक दिन मस्ती करने की ठानी ।

वह चिल्लाया ” भेड़िया आया भेड़िया आया “।

जब गाव वालों ने उसकी चीख सुनी तो वह दौड़ते हुए आए , लेकिन देखा तो भेड़िया काही नहीं है और लड़का हंस रहा है ।
गाव वाले बहुत गुस्सा हुए और उसे चेतावनी दी के “आगे से फिर ऐसी हरकत ना करे “।

लेकिन लड़का कहा मानने वाला था , उसे तो मजा या रहा था ।
अगले दिन वह फिर चिल्लाया ” भेड़िया आया भेड़िया आया “।

गाव वाले फिर दौड़ते हुए आए , आकर देखा तो फिर वही । लड़का हंस रहा है और कोई भेड़िया वहापर नहीं है ।
इस बार गाव वाले फिर बहुत गुस्सा हुए और उन्होंने आखरी चेतावनी दे डाली ” फिर झुट चिल्लाए तो खबरदार “।

अगली रोज सच मे भेड़ियों का झुंड वहा पर आया और उन्होंने भेड़ों का शिकार शुरू कर दिया । अब बच्चा सच मे चिल्लाया ” भेड़िया आया भेड़िया आया “। और बार बार चिल्लाया ” भेड़िया आया भेड़िया आया “।
लेकिन गाव वाले भी उस के मजाक से उकता गए थे उन्होंने सोचा यह तो रोज ही मजाक करता है । और कोई उसकी मदद के लिए नहीं गया ।

यहा ऊपर भेड़ियों ने सारी भेड़ों को मार डाला और शाम होते होते वह लड़का रोते हुए गाव वापिस आया । एक बूढ़े आदमी ने उसे सांत्वना देते हुए कहा “झूठे पर कोई विश्वास नहीं करता, भले ही वह सच कह रहा हो!”

कहानी की सीख : हमेशा सच बोले , झुटो को एक दिन बड़ा नुकसान उठाना पड़ता है ।

लेखक के बारे में ,
लेखक हिंदी भाषा मे टेक्नोलॉजी,ऑटोमोटिव, बिजनेस, प्रोडक्ट रिव्यू, इतिहास, जीवन समस्या और बहुत सारे विषयों मे रचनात्मक सामग्री के निर्माता और प्रकाशक हैं। लेखक अपने ज्ञान द्वारा वास्तविक जीवन की समस्याओं को हल करना पसंद करते है। लेखक को Facebook और Twitter पर ????????फॉलो करे ।