इस्तांबुल का पुराना नाम और जानकारी

यह पोस्ट “Istanbul Ka Purana Naam” पढ़ने के बाद आप को निम्न लिखित विषय संबंध मे उपयोगी जानकारी हासिल होगी । यह उपयुक्त जानकारी आप के जीवन मे बेहतरी ला सकती है ।
👉🏻इस्तांबुल का पुराना नाम ।
👉🏻इस्तांबुल कहां है अथवा इस्तांबुल किस देश में है।
👉🏻इस्तांबुल की जानकारी – जैसे लोक संख्या , संस्कृति , पर्यटन और इतिहास ।

इस्तांबुल अपने आप मे एक इतिहास का गवाह है । हजारों सालों का इतिहास, कई हुकूमतों के परवान चढ़ने और बिखर जाने के निशान , कई सारी एतिहासिक वास्तुए और समृद्ध संस्कृति से परिचित कराने वाली गलिया । समंदर के किनारे से हागिया सोफिया का नजारा । और इस्लामी दुनिया के इस शहर को फतह करने की याद ताज़ा करने वाली दिवारे अपने आप मे बहुत कुछ बया करती है । कई हजारों किस्से कहानिया इस्तांबुल शहर से जुड़ी हुई है । इसकी कई झलक हमे यहा के प्रसिद्ध टीवी ड्रामे और फिल्मों मे देखने मिलती है ।

इस्तांबुल कहाँ है ? अथवा इस्तांबुल किस देश में है?

इस्तांबुल शहर तुर्की मे स्थित है । यह तुर्की का सबसे बड़ा शहर है और देश का आर्थिक, सांस्कृतिक और ऐतिहासिक केंद्र है। इस्तांबुल शहर बोस्पोरस जलडमरूमध्य में फैला है। इसका कुछ हिस्सा यूरोप और कुछ हिस्सा एशिया दोनों में स्थित है। इस्तान्बुल की आबादी 15 मिलियन से अधिक है, जिसमें तुर्की की आबादी का 19% हिस्सा शामिल है। इस्तांबुल यूरोप में सबसे अधिक आबादी वाला शहर है, और यह दुनिया का पंद्रहवां सबसे बड़ा शहर है।

इस्तांबुल का पुराना नाम और जानकारी
इस्तांबुल का पुराना नाम और जानकारी

पुराने शहर का क्षेत्र लगभग 9 वर्ग मील (23 वर्ग किमी) मे फैल है। लेकिन वर्तमान नगरपालिका की सीमाएँ बहुत आगे तक फैली हुई हैं। मूल प्रायद्वीपीय शहर में सात पहाड़ियाँ हैं, जो कॉन्स्टेंटाइन के “न्यू रोम” के लिए आवश्यक हैं। गोल्डन हॉर्न के ऊपर एक लंबी रिज के छह शिखर हैं; दूसरा दक्षिण-पश्चिम कोने में एक अकेला प्रतिष्ठा है। उनकी ढलानों के आसपास कई मस्जिदें और अन्य ऐतिहासिक स्थल हैं जिन्हें सामूहिक रूप से 1985 में यूनेस्को की विश्व धरोहर स्थल के रूप में नामित किया गया था।

इस्तांबुल का पुराना नाम और इतिहास

इस्तांबुल का पुराना नाम कॉन्स्टेंटिनोपल था । सम्राट कॉन्स्टैंटिन द ग्रेट ने इसे रोमन साम्राज्य बैजान्टियम की राजधानी बनाया और इसे अपना नाम दिया: कॉन्स्टेंटिनोपल (Constantinople)। यह शहर रोम की तरह सात पहाड़ियों पर बनाया गया था। प्रारंभिक बैजान्टिन सम्राटों ने इस शहर को प्राचीन दुनिया के खजाने से भर दिया था । चौथी और छठी शताब्दी के बीच इसकी आबादी आधे मिलियन से अधिक हो गई थी।

इस्तांबुल शहर की स्थापना : 330 ईस्वी में, कॉन्स्टेंटाइन ने इस्तांबुल शहर की स्थापना की जिसने आगे चलकर प्राचीन दुनिया में कॉन्स्टेंटिनोपल के रूप में अपनी पहचान बनाई। इसे शहरों की रानी, इस्टिनपोलिन, स्टंबौल और इस्तांबुल सहित अन्य नामों से भी जाना जाता था । इस्तांबुल के सबसे पहले निवासि दूसरी सहस्राब्दी ईसा पूर्व से वहा निवास कर रहे है।

उस ज़माने में वह लोग शहर के एशियाई छोर पर बस गए थे। इस शहर का पहला नाम मेगारा राजा बीजस से आया है। 6 वीं शताब्दी ईसा पूर्व में फारसियों ने शहर पर शासन किया और अलेक्जेंडर महान से 4 वीं शताब्दी ईसा पूर्व के बाद इसे ले लिया, जो कि दूसरी शताब्दी ईसा पूर्व तक शांतिपूर्ण काल ​​था।

१९३ ईस्वी में रोमन सम्राट सेप्टिमस सेवरस ने शहर पर विजय प्राप्त की और यह 4 वीं शताब्दी ईस्वी तक रोमन शासन के अधीन रहा. जस्टिनियन प्रथम के शासनकाल के दौरान 532 में, दंगों ने शहर को लगबघ नष्ट कर दिया था। लेकिन फिर यह पुनर्निर्मित किया गया । इस्तांबुल शहर ने तक़रीबन सोलह शताब्दियों तक पूर्वी रोमन या बीजान्टिन और ओटोमन जैसे लगातार दो शक्तिशाली साम्राज्यों की राजधानी के रूप में सेवा दी है।

सुल्तान महमूद के दौर मे इस्तांबुल : सुल्तान मुहम्मद  द्वितीय के नेतृत्व में तुर्क ने 1453 में कॉन्स्टेंटिनोपल पर शानदार विजय प्राप्त की थी । फिर यह इस्लांबोल नामित शहर अबकी बार तुर्क साम्राज्य की राजधानी बन गया। 15 वीं और 16 वीं शताब्दी के बीच, सुल्तानों ने इस शहर में कई मस्जिदों और सार्वजनिक इमारतों का निर्माण किया, जिस वजह से 1500 के मध्य तक जनसंख्या को फिर से आधा मिलियन तक पहुच गयी थी।

कई जमाने तक इस्तांबुल एक प्रमुख सांस्कृतिक, राजनीतिक और वाणिज्यिक केंद्र था. “इस्तांबुल” नाम सदियों से “इस्लामंबोल” (“इस्लाम का शहर” ) और “ईस टिन पोलिन” (ग्रीक में “शहर में”) के संयोजन से लिया गया था

सुल्तान महमूद द्वितीय द्वारा थापित यह इस शहर का निजाम तुर्क शासन और द्वितीय विश्व युद्ध तक चलता रहा। महायुद्ध के आखरी वक्त में इस्तांबुल शहर पर सहयोगी सैनिकों द्वारा कब्जा कर लिया गया था। कब्जे वाले बलों के खिलाफ अतातुर्क के नेतृत्व में वर्षों के संघर्ष के बाद, तुर्की गणराज्य का जन्म १९२३ में हुआ था और अंकारा  शहर राजधानी बन गया।

इस्तांबुल की संस्कृति : इस्तांबुल तुर्की देश में है। यह शहर दो यूरोप और आशिया महाद्वीपों के बीच वर्गाकार रूप से स्थित है।  इसी लिए इसे दो महाद्वीप में बंटा शहर के खासियत से पहचाना जाता है। इस्तांबुल की संस्कृतियां और परंपराएं पूर्व और पश्चिमी भूमध्य सागर के साथ अनातियन संस्कृति के साथ मिश्रण करती हैं। हर वह सभ्यता जिसने इस्तांबुल को अपना घर बना था उसने उदात्त और शानदार तरीके से अपनी छाप इसपर छोड़ी है। यह एक ऐसा शहर है जो हर इतिहास में सार्वभौमिक इतिहास की भावना देता है।

1923 में गणतंत्र व्यवस्था अपनाने के बाद से इस्तांबुल का विकास जारी रहा। आज यह शहर में रहने वाले 15.5 मिलियन से अधिक लोगों के साथ आबाद हो चूका है। इस्तांबुल का पुराना नाम बदल कर आज यह तुर्की (Turkey) का सबसे बड़ा शहर और दुनिया के सबसे बड़े शहरों में से एक बनाता है । लेकिन वह आज भी अपनी संस्कृति, इतिहास और विरासत को संभाले हुए है ।

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